गणेश चतुर्थी भारत में एक हिन्दू त्यौहार है। वह श्री गणेश के आदर में मनाया जाता है। कहा जाता है कि त्यौहार के दिनों पर श्री गणेश अपने भक्त के लिए संसार आते हैं। वे शिव और पारवती का बेटा हैं, और उनके हाथी का सिर है। श्री गणेश अक़्ल और शुभ का भगवान हैं। त्यौहार हिन्दू कैलेण्डर के भादों महीने में दस दिन के लिए मनाया जाता है। वे दिन अगस्त-सितम्बर के पास हैं। भारत के बाहर, वह यू-के, नेपाल , श्रीलंका, और दूसरे देशों में भी मनाया जाता है।
त्यौहार के लिए मिट्टी की प्रतिमाएं बनाये जाते हैं। वे बहुत आकारों में खरीदे जा सकती हैं। वे एक इंच ही से कोई पच्चीस फुट को बनाए जाती हैं। त्यौहार में प्रतिमाएं मंडपों में पाए जाती हैं। मंडपों फूलों, रोशनियों, वगैरह से साजाये जाते हैं। प्रतिमा को प्रसाद दिये जाते हैं और समारोह में गीत गाये जाते हैं। त्यौहार के अंत में, प्रतिमा धारा को ली जाती होकर धारा में पायी जाती है। सब लोग अगले साल में श्री गणेश के लौटने के लिए पूछते हैं। आधुनिक दिनों में कभी-कभी प्लास्टर की प्रितमाएं का प्रयोग किया जाता है। इस तरह का प्रतिमा धारा में परिवेशी समस्या हो सकता है।
त्यौहार में प्रचलित खाना मोदक है। मोदक नारियल और फूलों से गुलगुला है। सड़क में उत्सव प्रचलित हैं। गाने गाने जाते हैं और नाटक किया जाते हैं। त्यौहार में कलाकार अपने कला देखते हैं। शहर अपने समुदाय के लिए गतिविधिएं करते हैं। शायद फ्री मेडिकल चेक-अप है, और दान ग़रीब को दिया जाता है।
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