कैन्यन दे शे राष्ट्रिय स्मारक अरिजोना स्टेट में है. १९३१ को अध्यक्ष हर्बर्ट हूवर ने यह स्मारक बनाना क्यूंकि उसको चाहिए कि जगह जहाँ नावाहो (एक देशी अमेरिकी की जनजाति) रक्षा करना था... ४००० साल के लिए उन लोगों अरिजोना में रहते थे! स्मारक के पास ८४,००० एकड़ जमीन है, और वहां ४० देशी परिवार अभी भी रह रहे हैं. नावाहो लोग कहते है कि अपने नाम "दिनेह" है. नावाहो का भाषा में यह शब्द "लोग" मतलब है.
मेरा बचपन में मेरी माँ और मैंने नया मेक्सिको को जाई. वहां, वह मुझको दिखाई कि अभी भी नावाहो औरतें अपने हाथ के साथ टोकरी बनती हैं. सुबह में, वे औरतें मकई पीसती हैं चपाती बनाना. वे कपड़े बुनती है, और सूर्य के तहत वे मिट्टी की ईंटों रूप देती हैं. उनके पास बहुत काम करती हैं. (१३५)
लेकिन मैं कभी नहीं नावाहो अरिजोना में देखती हूँ. शायद वे लोग अलग ढंग से व्यवहार करते हैं. शायद वे दूकान से चपाती खरीदते हैं और उनके कपड़े खुद नहीं बनाते हैं. मुझे मालूम नहीं. तथापि मुझको ही मालूम है कि यह महत्त्वपूर्ण है कि मैं देशी लोगों से सीखती हूँ. मेरे पिता कि वजह से मैं भी देशी हूँ. मेरे पिता के जनजातियों "चेरोकी" और "चिपवा" हैं. लेकिन लगभग सब चेरोकी और चिपेवा लोग ने मर गए हैं. तो अरिजोना में मैं नावाहो देशी लोगों को मिलूंगी.
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