अगर मैं भारत जाती हूँ, मैं बहुत सारे चीज़ें करौंगी। मैं दो तीन हफ्ते से जौंगी क्यूँ की भारत अच्छे से देखने लायक वक्त लगेगा। शायद मैं डिसेम्बर भारत जाऊं । परिवार से मिलने के बाद, मैं सारा भारत घूमौंगी। उत्तर में, मैं जम्मू में पहाड़ों देखौंगी। उस के बाद, मैं यमुना, गंगा, भ्रमपुत्र, सारे मशहूर नदियाँ देखौंगी। ये नदियाँ हिन्दू लोग के लिए बहुत ख़ास है और मैं वे ज़रूर देखौंगी। नदियाँ के बाद मैं गुजुरत और राजस्थान दोनों जौंगी। शायद मैं गुजुरत पहले से जौंगी। वहां पर मैं शायद थोड़ी शौपिंग करूं और महशूर जगह देखौंगी। राजस्थान में बड़े बड़े हवेली हैं और मैं उस हवेलिओं को देखना चाहती हूँ। ज़रूर मैं जयपुर भी जौंगी। फिर, मैं कोल्कता जौंगी, घूमने के लिए। उत्तर भारत देखने ख़तम हुआ। अब मैं दक्षिण भारत में घूमने जौन्गी. मेरी माँ की परिवार वहां पर रहते हैं। मैं उन के पास रह जौन्गी थोड़ी दिन पर और उसके बाद मैं उनके साथ कर्नाटका की सबसे मशहूर जगह देखौंगी। हम केरला, गोवा, तमिल नाडू और आंध्र प्रदेश भी जायेंगे । वहां पर बहुत सारे मंदिर है और शौपिंग के लिए बहुत अच्छे होता है।
हा, अगर मैं भारत जौन्गी, मैं ज़रूर यह सब करौंगी!
Sunday, 7 November 2010
Saturday, 6 November 2010
भारत में दिवाली
अगर मैं भारत जाती मैं पहले दिल्ली जाती. दिल्ली मैं मेरे मामा और पापा दोनों बड़े हुए और वहा मेरी पूरी परिवार रहती है. इस हफ्ते मुझे दिल्ली जाने का बड़ा मन था क्यों कि इस शुक्रवार पर दिवाली थी. दिवाली एक हिन्दू त्योहार है. इस दिन पर भगवन राम चोदा साल के बाद अयोध्या वापिस आये. अब तो हज़ारो साल हो चुके है लेकिन भारत में सब लौग दिवाली के दिन पर बहुत माजा करते है. स्कूल मैं छुट्टी होती है और सारे ऑफिस भी बंद होती है. दिन बार बच्चे सड़क में खेलते है और रात को पटके चलते है. हिन्दू लौग भी घर में पूजा करते है और सब बहुत मिठाई भी खाते है. दिवाली के दिन पर बहुत रौनक होती है.
में कभी दिवाली के लिए भारत नहीं गयी हूँ. इस लिए अगर में भरता जाती इस हफ्ते, मैं दिवाली अपनी पूरी परिवार के साथ मनाती. दिवाली पर लौग नए कपड़े भी खरीदते है और मुझे शौपिंग करने मे बहुत मज़ा आता है. दिल्ली में मै अपनी मआसिया के सात साउथ एक्ष्तेन्सिओन जाती हूँ और वे मेरे लिए बहुत चीज़े खरीदती है. इसमें भी मुझे बहुत मज़ा आता है.
खाश मै आज भारत जा पाती. वहा बहुत रौनक हो रही है और में भी चहाती हूँ कि में भी इस रौनक मै मज़ा करू.
Thursday, 4 November 2010
अगर मैं भारत जाती
अगर मैं भारत जाती तो मैं सबसे पहले मैं दिल्ली में लैंड करुँगी और मेरी मौसी का घर जाउंगी। मेरी मौसे दिल्ली में रहती है क्यों कि वह दिल्ली में काम करती है। एक दो दीन के बाद, मैं चंडीगढ़ जाउंगी क्यों कि वहां मेरे नाना जी और नानी जी मेरा मामा के साथ रहते हैं। वे पहले भटिंडा में रहते थे लेकिन अब चंडीगढ़ में रहते हैं। भारत में मुझे बहुत शौपिंग करना चाहिए। मैं और मेरी माँ बहुत सारे कपडे खरीदते हैं। हम अच्छा खाना भी खाते हैं रेस्तौरंट्स में और सड़क पर। पानी पूरी बहुत अछि है। हर बार मैं भारत जाती हूँ मुझे बीमार हुई लेकिन फिर भी मज़ा आता है। मेरा सारा परिवार एक घर में मिलता हैं और सारी रात के लिए बात करता है। मैं ताज महल भी देखना चाहती हूँ क्यों कि मैं सिर्फ एक बार गयी और मैं बहुत छोटी थी। इस लिए मुझे ज्यादा याद नहीं है। मैं मुंबई और गोवा भी जाना चाहती हूँ। मैं कभी नहीं गयी। मैं ने सुना है कि गोवा बहुत सुन्दर है और बहुत मज़ेदार है। इस लिए मैं जाना चाहती हूँ। मुंबई में सरे फिल्म स्टार्स रहते हैं। मैं शाहरुख़ खान को देखना चाहती हूँ।
अगर मै भारत जाती हूँ
अगर मै भारत जाती हूँ तो बहुत खुश हूगी. मै ਅੰਮ੍ਰਿਤਸਰ में जौउगी क्योकि मेरा परिवार वहा रहता है. मेरी ताई बहुत अच्छा खाना पकती है. मै और अपनी भाई और अपनी बहाने एक बाग़ घर के पास जाएगे. हमेशा हम क्रिकेट खेल खेलते है. खेल के बाद हम आइसक्रीम खाते है. जब मै भारत में हिंदी ही बोलती ही हूँ क्योकी अमेरिका में विस्वविघालय में हिंदी सिखाती हूँ. मै हिंदी लिख सकती हूँ लेकिन मै जाहती हूँ की हिंदी बोल सकू. मेरा पिता जी भी की इच्छा है की मै हिंदी बोलू. मेरी माँ और मेरी बहाने और मै हिन्दुस्तानी फ़िल्म देखेगे. हमे हिन्दुस्तानी फ़िल्मे बहुत पसंद है. हम लड़किया दुकाने भी पसंद है. मै और अपनी बहन जाहता है की नई साड़िया खरीदे. हम बाज़ार जाकर सब दुकाने जाएगे. यह मुमकिन है की हम आगरा में दो- तीन दिन के लिए ठहरे. हम ताजमहल देखेगे और बहुत तस्वीर लेगे. शायद हम एक शादी में जाए. मुझे शादी बहुत पसंद है. रात को सब लोग नाचते है और बहुत खुश है. ये हमेशा बहुत रंगीला और सुन्दर है. मै और अपनी बहन भारत में बहुत साहस होगे. अत में छुट्टी है हम हवाई अडा जाने टैक्सी किराये पर करेगे. यह लंबा यात्रा घर पर आता है.
Thursday, 28 October 2010
सब से अच्छा दिन
सब से अच्छा दिन में मैं हाई स्कूल विभाग करी क्यों की में हाई स्कूल छात्र नहीं थी, लेकिन मैं एक छात्र की यूनिवर्सिटी हूँ. ग्रदुअशन दिन मैं स्कूल नहीं गए पडी. सुबह में रेस्तौरांत पर मैं और मेरी माँ ब्रेअक्फ़स्त खाती थी. हम कॉलेज के बारे में बोली. शाम में माकोम्ब सेण्टर गए मेरे साथ मेरी माँ, मेरे पापा, और मेरा दोस्त. वहाँ मैं इनतेज़ार करी मेरे दोस्तों के लिए. वह दिन कई मेरे दोस्तों भी विभाग करे थे. सब लड़कियों सफ़ेद रोब्स पहननी और सब लड़के नीला रोब्स पहनने. वहां हमारे परिवारों थे. ग्रदुअशन के बाद मैं और मेरा परिवार डिनर खाने. डिनर के बाद मैं "सीनयर अल नईट पार्टी" जाती थी. वहां हम विडीयो गेम्स खेलने. वहां एक ओब्स्ताकल कोर्ज़ भी था. भर रात हम गेम्स खेलने. पांच बजे सुबह में एक रफल था. रफल के बाद मैं ने घर जाकर बिस्तर सोनी. वह सब से अच्छा दिन था.
Tuesday, 26 October 2010
मुझ को खुशी थी
मेरा "सबसे ख़ुशी का दिन" के बारे में बताना बहुत मुश्किल है क्योंकि मेरे पास कोई ख़ुशी का दिन थे। इन में से एक दिन मैंने अपने बेटे को जन्म दिया। वह दिन २२ जुलाई २००३ था। वह सुबह में था, आत बजे था। मैं हैरान थी क्योंकि मुझ को मालूम नहीं थी कि वह एक लड़का था। मैं सोच रही थी कि मैं एक लड़की को जन्म दूंगी। तो जब मैंने देखा एक मोटा लड़का शिशु मैं बहुत जोश में थी। मैं एक लड़का के लिए तैयार नहीं थी लेकिन फिरभी मुझ को बहुत कुशी थी। मुझ को यद् है कि मैंने पहेले चीज़ देखी वह था उस के काले बाल। उस के सिर पर बहुत बाल था। मैं बहुत खुश थी लेकिन मैं बहुत दर्द में थी क्यों कि मेरा c-section हुआ था। मुझे ठीक होने में बहुत समय लगा।
मेरी जिंदगी का सबसे अच्छा दिन
मेरी निदगी का सबसे ख़ुशी का दिन तब था, जब मैं अपने परिवार के साथ क्रिसमस की छुट्टियो में अरुबा घुमने के लिए गया था. मैंने इस समय यूनिवर्सिटी ओफ मिशिगन में ये पहला ही समेस्टर पूरा किया था. मैं अपने होटल के कमरे में बैठा था, और अपने ग्रेड्स के पोस्ट होने की वेट कुर रहा था. अगले दिन सुबह, मेरे माता और पिता ने मेरे लिए और मेरे बड़े भाई के लिए गरम नाश्ता बनाया था. मैं और मेरा भाई अंकुर नाश्ता करके, दरिया किनारे रेत के ऊपर फ्रिस्बी खेलने के लिए चले गए और मेरे माता और पिता वोक चलने गये. फिर करीब लंच के समय हम सुब होटल के कमरे में इकठ्टे हुए, उस समय मेरे भाई अंकुर ने अपना लेप टॉप कंप्यूटर चालू किया, क्योकि वो भी अपने कलास के ग्रेड की वेट कुर रहा था, उसके कोई टीचरस ने अभी तक ग्रेड्स पोस्ट नही किए थे, अब मेरी बरी थी ग्रेड्स चेक करने की, और मैं बहुत घबरा रहा था, मैं कंप्यूटर लिया और चेक कुर ही डाला, और मेरे सभी कलास में अ ग्रेड्स आए थे, मैं बहुत बहुत खुश हो गया, मेरी सारी मेहनत सफल हो गया. मैं बहुत पदाई करता था, सभी कलासो के लिए, और मुझे सबमे अ ग्रेड मिले थे, मुझे बहुत ही संतोष हुआ था. उस दिन मेरे भाई अंकुर के भी सारे ग्रेड्स पोस्ट गो गए थे, और उसको भी सारे अ ग्रेड मिले थे. फिर हमारे माता पिता हमको बहुत अच्छे डिनर और आइसक्रीम के लिए अरुबा टापू पर ले गए थे. वह दिन बहुत ही अच्छा था और छुट्टिया भी.
Subscribe to:
Posts (Atom)