Friday, 20 January 2012

बुर्ज खलीफा


मेरी खुश किस्मती है की मुझे बहुत साड़ी जगा घूमने की मौका मिल गयी | इसी तरह मुझे बुर्ज खलीफा जाना है क्योंकि मैं कभी नहीं दुबई गयी हूँ और मुझे दुनिया की सब्सी लम्बी इमारत देखने का मौका चाहिए | यह इमारत आठ सौ अत्तीस मीटर्स लम्बा है, सबसे ऊपर वाला कमरा को पौंचने के लिए आपको सबसे ऊपर चलने वाला एलेवाटर लेना परेगा | मुझे यह इमारत देखना है क्योंकि मैं हमेशा पुरानी इमारते देखती हूँ और हाँ वे ठीक हैं पर नया इमारतें देखने का मज्जा ही कुछ और है | सोचो कितना समय और तयारी करना पर्दा रूप खीचना करने के लिए | बुर्ज खलीफा एक फूल की सुन्दरता से प्रेरित हुआ | इसके अन्दर बहुत साड़ी दफ्तर हैं बारे-बारे कोम्पन्यों के और कुछ लोग भी रहते हैं नीचे वाले मंजिल में, सोचो कितना पैसा देना पड़ेगा इतनी सुंदर, लम्बी इमारत में रहने के लिए | यह "बुर्ज खलीफा" कहलाह जाता है क्योंकि वेह बनाया गया था एक चिकागो कंपनी से दो हज़ार चार में राष्ट्रपति खलीफा बिन ज़ायेद अल नहयान के लिए | देखते हैं कभी मुझे मौका मिलेगा मैं ज़रूर बुर्ज खलीफा देकने दुबई जाऊंगी |

Thursday, 19 January 2012

प्य्रामिदों - रीना जोशी

मुझे मिस्र जाना है और प्य्रामिदों देखना चाहती हूँ. ये प्य्रामिदों दुनिया के सात आश्चर्य में से एक है. प्य्रामिदों सुन्दर है और एक नहीं है लेकिन एक सौ तीस आठ है. ये प्य्रामिदों बहुत पुराना और बड़ा है.प्य्रामिदों बनगए देश के फैरो के लिए, तब जैसे. इन प्य्रामिदों पुराने और मध्यम राज्म में बनया गया. ये प्य्रामिदों नौकरों ने बनवाया.मिस्र एक रेगिस्तान है और उदर दिन में बहुत गर्मी होता है और रत में बहतु ठंड होता है. जब मैं छोटी थी मेरी माँ को मुझे मिस्र लेनी चाहती थी लेकिन फुरसत नहीं मिली. अब मैं बड़ी हूँ और मुझको मिस्र जाना है लेकिन मेरे पास पैसे नहीं है. मिस्रसरकारी को समस्याओ है लेकिन देश का इतिहास बड़ा और खुबसूरत है. मिस्र में जुर्म और लुटाना होता है. हर देश में ये होता है लेकिन मिस्र बड़ा टूरिस्ट जगह है इसे लिए बहुत जुर्म है. मिस्र अफ्रीका में है. मिस्र का कपिटल क्य्रो है. क्य्रो के गावों में प्य्रामिदों  है. मिस्र में अरबिक बोलते है. अरबिक मुश्किल बाशा है लेकिन बहुत सुन्दर. ये प्य्रामिदों रेट से बना गया. ये रेट में बहुत शक्ति है क्योंकि हर मौसम में ये प्य्रामिदों सीदा खड़े रहते है. प्य्रामिदों के रंग भूरा है और वे हल्लो है. मिस्र काला सागर के पास है. अमेरिका से मिस्र बहुत दूर है लेकिन भारत से कम दूर. प्य्रामिदों मिस्र के जान है उसके बिना मिस्र कुछ भी नहीं है. जब मेरे दादा जवान आदमी थे उन्होंने मिस्र में रहते थे. उसको बहुत पसंद आया. 

रीना जोशी 

Wednesday, 18 January 2012

कैन्यन दे शे राष्ट्रीय स्मारक



कैन्यन दे शे राष्ट्रिय स्मारक अरिजोना स्टेट में है. १९३१ को अध्यक्ष हर्बर्ट हूवर ने यह स्मारक बनाना क्यूंकि उसको चाहिए कि जगह जहाँ नावाहो (एक देशी अमेरिकी की जनजाति) रक्षा करना था... ४००० साल के लिए उन लोगों अरिजोना में रहते थे! स्मारक के पास ८४,००० एकड़ जमीन है, और वहां ४० देशी परिवार अभी भी रह रहे हैं. नावाहो लोग कहते है कि अपने नाम "दिनेह" है. नावाहो का भाषा में यह शब्द "लोग" मतलब है. 
मेरा बचपन में मेरी माँ और मैंने नया मेक्सिको को जाई. वहां, वह मुझको दिखाई कि अभी भी नावाहो औरतें अपने हाथ के साथ टोकरी बनती हैं. सुबह में, वे औरतें मकई पीसती हैं चपाती बनाना. वे कपड़े बुनती है, और सूर्य के तहत वे मिट्टी की ईंटों रूप देती हैं. उनके पास बहुत काम करती हैं.  (१३५)
लेकिन मैं कभी नहीं नावाहो अरिजोना में देखती हूँ. शायद वे लोग अलग ढंग से व्यवहार करते हैं. शायद वे दूकान से चपाती खरीदते हैं और उनके कपड़े खुद नहीं बनाते हैं. मुझे मालूम नहीं. तथापि मुझको ही मालूम है कि यह महत्त्वपूर्ण है कि मैं देशी लोगों से सीखती हूँ. मेरे पिता कि वजह से मैं भी देशी हूँ. मेरे पिता के जनजातियों "चेरोकी" और "चिपवा" हैं. लेकिन लगभग सब चेरोकी और चिपेवा लोग ने मर गए हैं. तो अरिजोना में मैं नावाहो देशी लोगों को मिलूंगी.
मेरे दोस्त,
मैं सुना हैकि आप को हिंदी को जाना चाहता है. यह बहुत अच्छा समय हो गए आप को कोय जगह समुर्द के पास जाना चाहिए इस लिए सब दुसरे स्थानों भारत में बहुत बहुत गर्मी होता. या अगर आप कोय स्थान समुर्द नहीं के पास फिर आप को बहुत पानी की बोत्तुल और कुछ प्रेशंसके ले चाहिए. आप को भी एक त्रवेल अगेंट को कह चाहिए एक त्रवेल अगेंट आप को मदद करेगा पलने की टिकेट खरीदना के साथ यह त्रवेल अगेंट भी आप को मदद करेगा एक अच्छा होटल खोजना के साथ मुझे मालूम है की आप बहुत रुपैये नही के पास है लेकिन एक त्रवेल अगेंट आप को मदद करेगा कम पैसे  बचने के साथ तो आप को उस त्रवेल अगेंट को जेल्दी से फोन कर चाहिए फिर अंत में आप इंडिया पर पहुंचेगा, आप को एक तक्सी ड्राईवर को फोन कर चाहिए. यह तक्सी ड्राईवर आपकी होटल को ड्रिवे करेगा फिर आप को नहीं चल परेगा. भारत में, आप आराम कर सकता है. लेकिन आप को यद् कर चाहिए की आप भारत में बहुत नया और दिलचस्प चीज़ों ढेक सकता है. तो आप को नहीं बहुत सो चाहिए. मुझ को आशा है की आप की पत्र बहुत अच्छा है, और मैं आप को मिलेंगा कब आप लौटेंगे.
आप की दोस्त, गैरित 

तुमको चेन्नई जाना चाहिए

                                                                                                                                     कैरी तोवन, अन अबोर
                                                                                                                                      १७थ जून २००९
प्रिय सहेली,
   तुम्हारा पात्र पढ़कर मुझको बहुत खुशी हूँई. मुझे आशा है कि तुम्हारी दुसरे परीक्षा  भी अच्छी  होगी.

 तुम ने  कहा था तुमको    एक यात्रा पर जाना  चाहिए. यह आप का बहुत अच्छा विचार परीक्षा के  बाद का  यात्रा 
पर जाने   है. 

तुम कब जा रही हो? दिसम्बर या जनवरी में ? मैं शोची हूँ तुमको चेन्नई जाना चाहिए. चेन्नई एक बहुत सुंदर
 शहर है.

चेन्नई का दूसरा नाम कोल्लीवोद है तमिल फिल्म की इन्दुस्ट्री की  वजह से है.  और दिसम्बर में एक बहुत बड़ा भारतानादुयम त्यौहार भी है.

मुझे पता है कि तुमको भारतानादुयम बहुत पसंद है.  तुम अपने चचेरी बहन के साथ रह शकती हो.  बह चेन्नई  में रहती है. हाँ?

और  यात्रा. कॉम पर तुम्हे सस्ती टिकट मिल सकती है.  लेकिन याद रखना कि तुम जलदी बीमार हो जाती हो . तुम अपने इसलिए साथ कुछ कलोरीं की गोलियां  लेकर जाना. सामान का ध्यान रखनी. मारत में बहुत चेरियों भी होती हैं. अपने साथ ज्यादा नकदी मट लेकर नहीं  जाना. मुझे याद है पिछाली बार क्या हुआ थी.

मुझको आशा है कि तुम बहुत यात्रा अच्छी होगी.

                                 बहुत प्रेम के साथ तुम्हारी शहेली,
                                                                  मौनिका



Tuesday, 17 January 2012

स्तातुए ऑफ़ लिबर्टी

अगर मुझे कोई एक मोनुमेंट देखना को मिले थो मैं स्तातुए ऑफ़ लिबर्टी ज़रूर देखना जहुंगा. स्तातुए ऑफ़ लिबर्टी  समुन्दर के किनारे के पास है.ये मोनुमेंट एक औरत का है. वह न्यू योर्क में खड़ी है एक छोटे से ज़मीन के तुकर्ड़े पर. उस के हाथ में एक मशाल है और उस के सर पर एक ताज भी है. बहुत सरे लोग उसको देखने रोज़ आते हैं. या मोनुमेंट अमेरिका के इतिहास का बहुत जरूरी हिसा है. स्तातुए ऑफ़ लिबर्टी एक उपहार था फ्रांस से उ.स.अ. को कुछ एक सौ बीस साल पहले. इस उपहार से उ.स.अ और फ्रांस की दोस्ती बहुत मज़बूत होगी थी. फ्रांस ने इस से पहले उ.स.अ. को उनकी क्रांतिकारी जंग में मदद कि थी. इस लए ये उपहार के आने से फ्रांस को उ.स.अ. से मदद कि उमीद थी अगर कोई और जंग शुरू होती. अब ये मोनुमेंट रोज़ सुबह के नौ बजे से शाम के पांच बजे तक खुलती है. इस मोनुमेंट को देखने के लिए सब को एक बेड़ा लेनी पार्थी है. वह बेड़ा उनको पहले थो एक दो जगह ले कर जाती है और उसके बाद वह स्तातुए ऑफ़ लिबर्टी के पास जाती है. उसके पहले वह तुमे एल्लिस इस्लंद ले कर जाती है. एल्लिस इस्लंद एक रास्ता था पुराने समय में उ.स.अ. में अन्ने का. आब थो सब हवाई जहाज में आते हैं. वहां एक बहुत आचा संग्रहालय है देखने के लय. स्तातुए ऑफ़ लिबर्टी को देखने कि फ़ीस सिर्फ तेरह डॉलर है एक आदमी के लिए और मुक्त बच्चों के लिए. या प्रतिमा उ.स.अ. में हमेशा एक स्वतंत्रता का मोनुमेंट रहेगा. इस को देख कर लोग याद कर सकते हैं कि पहले कितनी गलत सोच थी दुनिया में और आज दुनिया कहाँ से कहाँ आह चुकी है. या सिर्फ उ.स.अ. का नहीं लेकिन दुनिया का एक बहुत जरूरी हिसा है.

Saturday, 14 January 2012

होमवर्क चार

मैंने ताजमहल दखा है और उस के बारे बहुत कुछ जनता हूँ. लेकिन अगर मैं एक स्मारक देख सकता हूँ तो मैं कालीज़ीयम देखना चाहता हूँ.  मैं कई और स्मारक देखना चाहता हूँ लेकिन अभी मुझे कालीज़ीयम में बहुत दिलचस्पी है.  कोलिज़ीयम रोमन इंजीनियरिंग और बनावट का एक बहुत अच्हा उदाहरण है.  यह रोम, इटली के केंद्र में बनाया गया था और रोमन साम्राज्य में सबसे बड़ा अखाड़ा था.  सम्राट वेस्पसियन ने कालीज़ीयम की संरचना वर्ष ७२ में शुरू की और उस के बेटे (सम्राट तीतुस) ने संरचना वर्ष ८० में खत्म किया.  एक महान रोमन विजय का जश्न मनाने के लिए और रोमन लोगों के लिए कालीज़ीयम बनाया गया था.  कालीज़ीयम क्रांतिकारी था क्योंकि ४५,००० या ५५,००० लोग बैठ सकते थे और उन लोगों के लिए स्नानघर थे और विक्रेते भी थे खाना या कुछ और देने के लिए. कालीज़ीयम तलवार चलानेवाले प्रतियोगिता, नकली समुद्र लड़ाईजानवर का शिकार, फांसीप्रसिद्ध लड़ाई का पुनः अधिनियमितियों, और नाटकों शास्त्रीय पौराणिक कथाओं पर आधारित के लिए इस्तेमाल किया गया था. लेकिन पांच सौ साल बाद, कालीज़ीयम मनोरंजन के लिए नहीं इस्तेमाल किया जाता था.  अगले कुछ सौ वर्षों में रोमन कैथोलिक चर्च कालीज़ीयम को इस्तेमाल करते थे या फिर आवास, किले, कार्यशालाओं, या खदान के लिए कालीज़ीयम इस्तेमाल किया जाता था. यह समय कालीज़ीयम के लिए बहुत बुरा था क्योंकि एक भूकंप से कालीज़ीयम बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हुआ. और इस समय के दौरान  कुछ लोग कालीज़ीयम से पत्थर और कांस्य चोरी कर रहे थे अपनी इमारतें बनाने के लिए.  लेकिन आज-कल,  कालीज़ीयम रोम का एक सबसे लोकप्रिय पर्यटकों के आकर्षण है.  कालीज़ीयम १९३२ साल पुराना है, लेकिन अभी भी लोगों कालीज़ीयम में मनोरंजन होते हैं.  (अगली यात्रा: गीज़ा का ग्रेट पिरामिड)